चंडीगढ़
16 जून 2020
दिव्या आज़ाद
हम शरीर से पहले एक आत्मा रूप हैं और आनंद से भरपूर है जब हम अपने अंतर्मन से जुडऩा शुरू करते हैं तो हमारी जिंदगी में बाहरी परिस्थितियाँ का कोई प्रभाव नहीं पड़ सकता । यह बात ट्राईसिटी की प्रसिद्ध मोटिवेशनल स्पीकर डॉ रेनु अरोड़ा ने सोशल मीडिया पर उनसे जुड़े लोगों को कही। डॉ रेनु अरोड़ा मोटिवेशनल स्पीकर होने के साथ साथ एक लेखिका, शिक्षाविद्य, समाज सेविका भी हैं। डॉ रेनु ने हजारों लोगों को अपने हजारों मोटिवेशनल स्पीज के माध्यम से कोविड-19 में मानसिकता से उभरा है जिसके लिए उन्हें हाल ही में कई उत्कृष्ठ सम्मानों से सम्मानित भी किया जा चुका है।

डॉ रेनु ने सोशल मीडिया के माध्यम से जुड़े लोगों को बताया कि जिंदगी को आसान बनाना और मुश्किल बनाना सब व्यक्ति के हाथों पर ही निर्भर करता है। यह इस एक सोच पर भी निर्भर करता है कि वे किसी काम को कितनी सकारात्मक ढंग के जरिये पूरा करने का प्रयास करता है। उन्होंने बताया कि जिंदगी में सभी इंसान उतार चढ़ावों का सामना करते हैं और ये हरेक की जिंदगी में आते हैं और कोई भी उनसे बच नहीं सकता। उन्होंने बताया कि कई बार जिंदगी में लोगों के पास सब कुछ होता है पर उसके बावजूद भी तनाव के साथ उनके ऊपर हावी हो जाते हैं और वह आत्महत्या कर लेते हैं।

उन्होंने कहा कि यदि हम जिंदगी में होनेवाली  हर चीज़ से अपने आप को प्रभावित करेंगे तो हमें लगेगा हम हर समय किसी काम  में व्यस्त हैं हमें जो जिंदगी जीने के लिए मिली है आनंद पाने के  लिए मिली है उसे हम सही मायने से नही जी पाएंगे क्योंकि जिंदगी में हर पल बदलाव होते हैं और यदि हम हर पल सोचते रहेंगे हमारे अंदर एक तनाव हमेशा रहना शुरू हो जाएगा जो हमारे दिमाग़ पर भी बुरा असर डालता है हमें इससे बचना चाहिए। उन्होंने बताया कि एक बार व्यक्ति ने परिस्थितियों से लडऩा सीख लिया तो उसके सामने कोई भी बुरी  परिस्थिति ज़्यादा देर तक टिक नहीं पाएगी।

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