चण्डीगढ़
27 अप्रैल 2019
दिव्या आज़ाद
फ़िल्म स्टार अनुपम खेर, जो चंडीगढ़ संसदीय सीट से भाजपा प्रत्याशी एवं फिल्म एक्ट्रेस किरण खेर के पति भी हैं, द्वारा भाजपा पार्षदों की बैठक लिए जाने पर आल इंडिया राजीव मेमोरियल सोसाइटी के प्रधान एवं चंडीगढ़ कांग्रेस के विशेष आमंत्रित सदस्य राज नागपाल ने तंज कसा है। उन्होंने यहां जारी एक प्रेस बयान में कहा कि अनुपम खेर को स्थानीय भाजपा संगठन पर विश्वास नहीं रहा जो उन्होंने अपने स्तर पर स्थानीय भाजपा पार्षदों की बैठक बुला ली।
राज नागपाल ने कहा कि अनुपम खेर न तो भाजपा के सदस्य हैं और न ही उनके पास कोई अधिकारिक जिम्मेवारी है फिर भी उनके द्वारा भाजपा के प्रधान व संगठन मंत्री की गैरजानकारी व गैरमौजूदगी में निवर्तमान सांसद के कोठी पर यह बैठक लिए जाने से पार्टी की फूट फिर से उजागर हो गई है व भाजपा की इन चुनावों में हार निश्चित नजर आ रही है।
नागपाल ने कहा कि इस घटना से पीएम मोदी के तानाशाहीपूर्ण मिज़ाज की झलक मिलती है जिस कारण भाजपा के स्थानीय नेतृत्व को खेर दंपति ने अपमानित किया।
उन्होंने कहा कि जब से किरण खेर चंडीगढ़ की सांसद चुनी गई हैं तब से वह शहरवासियों की सुधबुध छोडक़र अपने गुट को मजबूत करने में जुटी रहीं जिस कारण आज समस्यायों से त्रस्त चंडीगढ़ की जनता त्राहि-त्राहि कर रही है व पार्टी में भगदड़ मची हुई है। कई नेता पार्टी छोड़ कर कांग्रेस में आ चुके हैं व कई और भी लाइन में हैं।
उल्लेखनीय है कि 25 अप्रैल को किरण खेर के नामांकन पत्र भरने के दिन अनुपम खेर यहां आये थे व उसी दिन शाम को उन्होंने से. 8 स्थित किरण खेर के आवास पर पार्षदों की बैठक बुला ली जिसमें चुनावों में तैयारियों को लेकर चर्चा की गई। पार्टी में इस घटनाक्रम से काफी सुगबुगाहट है।
निर्दलीय को पर्चा दाखिल ना करने देने पर कोसा
राज नागपाल ने कहा कि कल जब पवन बंसल ने नामांकन दाखिल किया तो उनके साथ 5 और उम्मीदवारों ने भी अपने पर्चे जमा करवाए तथा कोई दिक्कत नहीं हुई जबकि जब किरण खेर ने परसों अपना नामांकन भरा तो ऐसा अराजकता का माहौल पैदा कर दिया गया कि जो दो अन्य प्रत्याशी अपने पर्चे जमा कराने आए थे, उन्हें बैरंग ही लौट जाने को मजबूर कर दिया गया।